Sat. Mar 15th, 2025

स्कूलों में छात्रों की उपस्थिति बढ़ाने के उद्देश्य से मिड डे मील की व्यवस्था शुरू की गई थी। आंकड़ों को देखा जाए तो यह योजना भी छात्रों को स्कूल की तरफ पूरी तरह से आकर्षित नहीं कर पा रही। रही है। पूरे प्रदेश में बदायूं में सबसे कम छात्रों ने मिड डे मील खाया है। बरेली जिले को प्रदेश में 47वां स्थान मिला है। स्कूल शिक्षा महानिदेशक ने छात्र उपस्थिति और मिड डे मील उपभोग बढ़ाने के निर्देश दिए हैं। परिषदीय स्कूलों में मिड डे मील वितरण की लगातार समीक्षा की जाती है। जिला स्तर पर समीक्षा के साथ ही परियोजना स्तर से भी निगरानी होती है। रोज ही फोन कर मिड डे मील खाने वाले छात्रों का विवरण लिया जाता है। आमतौर पर यह विवरण उपस्थिति के आसपास ही होता है। कुछ ही छात्र ऐसे होते हैं जो स्कूल आने के बाद बिना मिड डे मील खाए चले जाएं। ऐसे में नवंबर की ऑनलाइन समीक्षा रिपोर्ट को देखा जाए तो पूरे प्रदेश में मिड डे मील खाने वाले सबसे अधिक छात्र महोबा जिले में है। महोबा में 74.14 फीसदी छात्रों ने मिड डे मील का लाभ उठाया। इसके उलट पूरे प्रदेश में सबसे कम बदायूं में 57.23 फीसदी छात्रों ने ही मिड डे मील खाया। बरेली का हाल भी कोई खास अच्छा नहीं है। प्रदेश में बरेली को 47वीं रैंक मिली है। बरेली में कुल 334616 विद्यार्थी पंजीकृत हैं। इनमें से 210242 ने ही स्कूल में आकर खाना खाया हालांकि अक्तूबर के 60.58 फीसदी की तुलना में नवंबर में 62.83 फीसदी ने भोजन ग्रहण किया

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *