Fri. Mar 14th, 2025

प्रदेश के मदरसा छात्रों को उच्च शिक्षा के लिए केंद्रीय विश्वविद्यालयों में अब आसानी से दाखिला मिल सकेगा। वहीं, विदेश में पढ़ने की चाहत रखने वाले छात्रों को भी कोई बाधा नहीं रहेगी। उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा परिषद को भारतीय विद्यालय शिक्षा बोर्ड परिषद (सीओबीएसई यानी कोबसे) ने पंजीकरण के बाद मान्यता दे दी है। उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा परिषद से करीब 16,460 मदरसे मान्यता प्राप्त हैं। इन मदरसों में मुंशी-मौलवी हाई स्कूल समकक्ष, आलिम इंटर समकक्ष, कामिल स्नातक और फाजिल परास्नातक के समकक्ष पढ़ाई होती है। मदरसा बोर्ड का पंजीकरण अभी तक कोबसे में नहीं था। बोर्ड के चेयरमैन डॉ. इफ्तिखार अहमद जावेद ने बताया कि मदरसा बोर्ड का कोबसे में पंजीकरण न होने से भारतीय सेना सशस्त्र बल में भर्ती, केंद्रीय विश्वविद्यालयों में प्रवेश और विदेश में उच्च शिक्षा के लिए बाधा आ रही थीं। संबंधित संस्थाएं व विभाग कोबसे पंजीकरण प्रमाणपत्र मांगते थे। अब उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा परिषद का भी अन्य सभी बोर्डों की तरह कोबसे में पंजीकरण हो गया है। कोबसे ने मान्यता प्रमाणपत्र भी भेज दिया है। उन्होंने बताया कि कोबसे से मान्यता मिलने के बाद मदरसा बोर्ड के प्रमाणपत्र का महत्व बढ़ जाएगा। कोबसे पंजीकरण से मदरसा छात्रों को सेना में भर्ती होना आसान हो जाएगा। विदेश में उच्च शिक्षा के लिए जाने वाले मदरसा छात्रों के सामने कोई बाधा नहीं रहेगी। उन्होंने कहा कि देश भर के केंद्रीय विश्वविद्यालयों में यूपी मदरसा बोर्ड के छात्रों को आसानी से प्रवेश मिलने के साथ ही पासपोर्ट बनवाने में होने वाली असुविधा से मुक्ति मिलेगी। मदरसा बोर्ड की रजिस्ट्रार डॉ. प्रियंका अवस्थी ने बताया कि कोबसे भारत के सभी स्कूल बोर्डों का महासंघ है, जो भारत सरकार के अधीन एक स्वायत्त संस्था है। इसमें देश भर के सभी स्कूल बोर्ड पंजीकृत हैं।

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